पद्मश्री डॉ. ए एस किरण कुमार, पूर्व सचिव डीओएस/सदस्य, अंतरिक्ष आयोग (इसरो) ने लैमरिन टेक स्किल्स यूनिवर्सिटी, पंजाब का दौरा किया।
होशियारपुर/दलजीत अजनोहा
लैमरिन टेक स्किल्स यूनिवर्सिटी पंजाब (एलटीएसयू) ने विज़न 2047 पर एक ऐतिहासिक शिखर सम्मेलन की मेजबानी की, जिसमें एयरोस्पेस प्रौद्योगिकी और साइबर सुरक्षा महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों की भूमिका पर ध्यान केंद्रित किया गया। विज़न 2047 की थीम पर आयोजित इस कार्यक्रम में नीति निर्माताओं, शिक्षाविदों, उद्योग जगत के नेताओं और छात्रों को एक साथ लाया गया, ताकि शिक्षा को वैश्विक आवश्यकताओं के अनुरूप बनाने की रणनीतियों पर चर्चा की जा सके। पद्मश्री डॉ. ए एस किरण कुमार, पूर्व सचिव, अंतरिक्ष विभाग/सदस्य, अंतरिक्ष आयोग (इसरो) इस सम्मेलन में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। उन्होंने उद्योग-संबंधी कार्यक्रमों के माध्यम से पंजाब और भारत के युवाओं को सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका के लिए एलटीएसयू पंजाब की प्रशंसा की। उन्होंने "एयरोस्पेस प्रौद्योगिकी और साइबर सुरक्षा महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों की भूमिका" विषय पर खेल-परिवर्तनकारी अंतर्दृष्टि और भविष्य की चर्चाओं और दर्शकों के साथ अद्वितीय नेटवर्किंग अवसरों को साझा किया। उन्होंने कहा कि अगले दो वर्षों में मानव अंतरिक्ष में पहुंच जाएगा और भारत 2035 तक अंतरिक्ष स्टेशन बनाने की योजना बना रहा है। हमारी योजना है कि मनुष्य चन्द्रमा 2040 तक जाए और वापस लौट आए। चंद्रमा अन्य ग्रहों और अंतरिक्ष में उससे आगे की खोज के लिए एक कदम होगा। यदि हमें पानी मिल जाए तो हम उससे आगे जाने के लिए ईंधन बना सकते हैं।
श्री संजय देवनाथ पाटिल, निदेशक, एनपीटीआई (विशेष अतिथि) श्रीमती सौम्या प्रकाश, निदेशक, यूनिलॉग (अतिथि अतिथि) डॉ. एमबी गुरु बिजनेस डेवलपमेंट एंड इनोवेशन ने भी विषय पर अपने बहुमूल्य सुझाव साझा किए। कार्यक्रम में विद्यार्थियों को उनके प्रश्नों के उत्तर भी मिले तथा उनका ज्ञान भी बढ़ा।
डॉ संदीप सिंह कौरा चांसलर एलटीएसयू पंजाब ने कहा कि हम पद्मश्री डॉ. ए एस किरण कुमार के आगमन से सम्मानित महसूस कर रहे हैं और विश्वविद्यालय पहले से ही कृषि, पर्यावरण और अन्य सभी क्षेत्रों में समाज के कल्याण के लिए कार्य कर रहा है। हमें पूरा विश्वास है कि विश्वविद्यालय भविष्य में भी एयरोस्पेस प्रौद्योगिकी की दिशा में कदम बढ़ाएगा।
एलटीएसयू पंजाब के कुलपति डॉ परविंदर सिंह ने डॉ किरण कुमार को उनकी अद्भुत उपस्थिति के लिए धन्यवाद दिया तथा पीएसएलवी-सी-37, मंगलयान के माध्यम से 104 उपग्रहों के सफल प्रक्षेपण के साथ प्रत्येक भारतीय को गौरवान्वित करने में इसरो की उपलब्धि पर प्रकाश डाला। अपने प्रेरक भाषण के साथ, एलटीएसयू पंजाब आज के डिजिटल परिदृश्य में शिक्षा प्रणाली को फिर से परिभाषित करने और एयरोस्पेस इंजीनियरिंग में नई उद्यम पहलों के लिए आगे बढ़ेगा।
यह आयोजन भारत के विजन 2047 को साकार करने में एक मील का पत्थर के रूप में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, तथा देश को विशेष रूप से अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में कुशल पेशेवरों के वैश्विक केंद्र में परिवर्तित करेगा। इस अवसर पर उपस्थित एलटीएसयू के प्रमुख पदाधिकारियों में डॉ. परविंदर कौर, प्रो. चांसलर, डॉ. राजीव महाजन रजिस्ट्रार, प्रो. एचपीएस धामी, कार्यकारी डीन, और श्री सतबीर सिंह बाजवा, संयुक्त रजिस्ट्रार (कुलपति कार्यालय) और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
Comments
Post a Comment